सेक्टर 9 हनुमान मंदिर: राजनीतिक ब्रांडिंग पर रोक लगे – मंदिर ट्रस्ट

भिलाई | सेक्टर 9 हनुमान मंदिर ट्रस्ट ने एक विशेष बैठक में पुजारियों और बीएसपी ऑफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष के साथ मंदिर परिसर में हो रहे धार्मिक आयोजनों को लेकर गंभीर चिंता व्यक्त की। यह बैठक इस मुद्दे पर केंद्रित थी कि मंदिर के गर्भ गृह के समीप अस्थायी मंच लगाए जा रहे हैं, और बड़े ध्वनि विस्तारक यंत्रों का अत्यधिक प्रयोग किया जा रहा है, जिससे श्रद्धालुओं और मंदिर के आसपास रहने वाले लोगों को असुविधा हो रही है।



मंदिर ट्रस्ट का विचार: मंदिर ट्रस्ट के सदस्य श्री क्षितिज चंद्राकर ने कहा कि सेक्टर 9 हनुमान मंदिर में शुरुआत से ही बिना माइक या साउंड बॉक्स के धार्मिक कार्य होते आए हैं, लेकिन हाल ही में कुछ समूह अपने व्यक्तिगत या राजनीतिक उद्देश्य के लिए मंदिर परिसर में ऐसे आयोजनों का आयोजन कर रहे हैं। उनका आरोप है कि यह आयोजन भगवान के मंदिर में आस्था के बजाय आडंबर और राजनीतिक ब्रांडिंग के लिए किए जा रहे हैं।



उन्होंने कहा, “मंदिर के पीछे अस्पताल की सीमा लगी हुई है, और वहां से मरीजों और उनके परिजनों का आना-जाना लगा रहता है। इस कारण बड़े साउंड बॉक्स का बजना निषेध रहा है, और इन ध्वनि विस्तारक यंत्रों के प्रयोग से अन्य भक्तों और मरीजों को परेशानी हो रही है।”
पुजारियों का बयान: मंदिर के पुजारियों ने बैठक में बताया कि उन्हें प्रशासन के बड़े अधिकारियों की ओर से पत्र दिए जाते हैं, और इस राजनीतिक दबाव के कारण गर्भ गृह के समीप आयोजन करवाए जाते हैं, जिससे वे आहत हैं। मुख्य पुजारी श्री हनु तिवारी महाराज ने बताया कि ऐसे आयोजनों से भक्तों को पूजा पाठ में परेशानी होती है। उन्होंने कहा, “गर्भ गृह के समीप बड़े मंच और साउंड बॉक्स लगाने से पूजा में शांति भंग होती है, और अस्पताल के मरीजों को भी परेशानी होती है।”
बीएसपी ऑफिसर्स एसोसिएशन का समर्थन: बीएसपी ऑफिसर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष नरेंद्र बंछोर ने भी इस मुद्दे पर अपनी आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि ऐसे आयोजनों को निश्चित तय सीमा के बाहर आयोजित किया जाना चाहिए, ताकि आम जनता, भक्तों और अस्पताल में आने वाले मरीजों को परेशानी का सामना न करना पड़े। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर नियमों का उल्लंघन हुआ तो इस पर कड़ी आपत्ति दर्ज की जाएगी और प्रबंधन से शिकायत की जाएगी।
मंदिर ट्रस्ट की अपील: मंदिर ट्रस्ट ने इस बैठक में यह स्पष्ट किया कि आस्था और पूजा के स्थानों में किसी प्रकार के व्यक्तिगत या राजनीतिक आयोजनों की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए। मंदिर के परिसर में शांति और श्रद्धा का माहौल बना रहना चाहिए। ट्रस्ट ने अनुरोध किया कि भविष्य में ऐसे आयोजनों को तय सीमा के बाहर ही किया जाए और ध्वनि विस्तारक यंत्रों का प्रयोग सीमित किया जाए, ताकि भक्तों और मंदिर के आसपास के लोगों को कोई परेशानी न हो।
मंदिर ट्रस्ट की इस बैठक ने यह संदेश दिया कि धार्मिक स्थलों को व्यक्तिगत या राजनीतिक उद्देश्यों के लिए प्रयोग करने का कोई स्थान नहीं है और ऐसे आयोजनों से मंदिर की गरिमा को बनाए रखना आवश्यक है।